राष्ट्रपति डाक्टर हसन रूहानी ने मुसलमानों के लिए इमाम ख़ुमैनी के रास्ते के अनुसरण को गौरव की बात बताया है।
उन्होंने मंगलवार को इमाम ख़ुमैनी की 25वीं बरसी के प्रोग्राम में हिस्सा लेने वाले विदेशी मेहमानों से मुलाक़ात में कहा कि इमाम ख़ुमैनी ने पचास साल पहले इस्लामी आंदोलन शुरू किया था। उन्होंने कहा कि उस समय किसी ने कल्पना भी नहीं की थी कि इमाम ख़ुमैनी इस कम समय में इंक़ेलाब को कामयाबी तक पहुंचाएंगे और अपने दृष्टिगत लक्ष्यों को अमली बनाएंगे। डाक्टर रूहानी ने यह बयान करते हुए कि ईरान पांच दशक पहले तक अत्याचारी व साम्राज्यवादी शासक के अपमान का शिकार था, ज़ोर दिया कि हज़ारों साल पुरानी सभ्यता के मालिक के रूप में ईरानी जनता ने बहुत ही गौरव से इस्लाम की दावत स्वीकार थी।
डाक्टर हसन रूहानी ने स्पष्ट किया कि बड़ी ताक़तों ने ईरानी जनता के आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप किया और देश के महत्त्वपूर्ण व मुख्य फ़ैसले ईरानी शासक नहीं बल्कि ब्रिटेन और अमरीका सहित बड़ी ताक़तें किया करती थीं लेकिन इमाम ख़ुमैनी अत्याचार के समक्ष डट गये और इस रास्ते में उन्होंने कामयाबी हासिल की।
4 जून 2014 - 05:46
समाचार कोड: 613480

राष्ट्रपति डाक्टर हसन रूहानी ने मुसलमानों के लिए इमाम ख़ुमैनी के रास्ते के अनुसरण को गौरव की बात बताया है।